चर्बी बढ़ता , थुलथुल देश ,
आहार का बदला ,ऐसा परिवेश।
भोजन सूची ,सुबह है पास्ता ,
दोपहर पिज़्ज़ा , शाम को बर्गर।
बोतल , डब्बा , थैली ,पैकेट ,
संसाधित खाना, का मौजूद जमाना।
दाल भात , रोटी सब्जी ,
पुआ पूड़ी,लिटि चोखा।
समय से पहले ,पच कर गायब।
सब्जी रोती एक किनारे,
रंग हरा से हो गया पीला।
हँसता अपना आलू भैया ,
मांग तो इसकी बनी है, अभी तक।
कलयुग की है, कैसी ब्यार ,
हाँथ किसे है ,आज हिलाना ,
खाना किसको, आज बनाना।
अधिकारों का है पिंग बढ़ाया ,
पाकशाला की चिता सजाई,
उलझे जिसमे भैया-भौजी, सास- लुगाई।
पिकाचु
आहार का बदला ,ऐसा परिवेश।
भोजन सूची ,सुबह है पास्ता ,
दोपहर पिज़्ज़ा , शाम को बर्गर।
बोतल , डब्बा , थैली ,पैकेट ,
संसाधित खाना, का मौजूद जमाना।
दाल भात , रोटी सब्जी ,
पुआ पूड़ी,लिटि चोखा।
समय से पहले ,पच कर गायब।
सब्जी रोती एक किनारे,
रंग हरा से हो गया पीला।
हँसता अपना आलू भैया ,
मांग तो इसकी बनी है, अभी तक।
कलयुग की है, कैसी ब्यार ,
हाँथ किसे है ,आज हिलाना ,
खाना किसको, आज बनाना।
अधिकारों का है पिंग बढ़ाया ,
पाकशाला की चिता सजाई,
उलझे जिसमे भैया-भौजी, सास- लुगाई।
पिकाचु
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