चढ़ती खुमार ,
है ये, प्यार का बुखार ,
भूलते है यार ,
रब की दरकार,
बस चाहे तेरा प्यार , ओ मेरे यार।
कितने ही किस्से हो ,
कितने अफ़साने हो,
हम तो बेगाने हो ,
प्यार के दीवाने हो ,
बस चाहे तेरा प्यार , ओ मेरे यार।
ढलता नहीं है तेरा नशा ,
चढ़ता है, ये अंगूरी नशा,
जितने पुराने होये ,
बस चाहे तेरा प्यार , ओ मेरे यार।
कौमुदी का कौमार्य हो ,
अमिता का अमिताभ हो ,
मिश्री सा सहचर बन ,
सागर सा असीम बन ,
चाहता हु ,
सिर्फ तुम्हें मैं। ओ मेरे यार।
पिकाचु
है ये, प्यार का बुखार ,
भूलते है यार ,
रब की दरकार,
बस चाहे तेरा प्यार , ओ मेरे यार।
कितने ही किस्से हो ,
कितने अफ़साने हो,
हम तो बेगाने हो ,
प्यार के दीवाने हो ,
बस चाहे तेरा प्यार , ओ मेरे यार।
ढलता नहीं है तेरा नशा ,
चढ़ता है, ये अंगूरी नशा,
जितने पुराने होये ,
बस चाहे तेरा प्यार , ओ मेरे यार।
कौमुदी का कौमार्य हो ,
अमिता का अमिताभ हो ,
मिश्री सा सहचर बन ,
सागर सा असीम बन ,
चाहता हु ,
सिर्फ तुम्हें मैं। ओ मेरे यार।
पिकाचु
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