ये मेरा है ,
ये तेरा है ,
ये उसका है ,
ये इसका है
सब अहम की माथा पच्ची है।
ये कौन ,
वो कौन ,
तुम कौन ,
अनजाने , अनचाहे रस्ते पे ,
निकल पड़े है ,
मुर्दो की कौम।
इस ओर ,
उस ओर ,
सब ओर ,
काली मैली चादर ,
पसर चुका है।
अँधियारी वीरानी ,बस्ती में ,
इंसान, अपना हैवान बनकर ,
मौत का तांडव, खेल रहा है।
तेरा , मेरा , इसका , उसका,
करते करते ,
अपना इष्ट भी ,
टूटकर, बँट चूका है।
डोल रहा हु ,
इसके , उसके , तेरे, मेरे ,
अहम के गांठो के ,
दोराहे - चौराहे पे।
सोच रहा हु ,
तेरा ,मेरा , इसका, उसका में ,
क्या , कुछ अपना भी है ।
पिकाचु
ये तेरा है ,
ये उसका है ,
ये इसका है
सब अहम की माथा पच्ची है।
ये कौन ,
वो कौन ,
तुम कौन ,
अनजाने , अनचाहे रस्ते पे ,
निकल पड़े है ,
मुर्दो की कौम।
इस ओर ,
उस ओर ,
सब ओर ,
काली मैली चादर ,
पसर चुका है।
अँधियारी वीरानी ,बस्ती में ,
इंसान, अपना हैवान बनकर ,
मौत का तांडव, खेल रहा है।
तेरा , मेरा , इसका , उसका,
करते करते ,
अपना इष्ट भी ,
टूटकर, बँट चूका है।
डोल रहा हु ,
इसके , उसके , तेरे, मेरे ,
अहम के गांठो के ,
दोराहे - चौराहे पे।
सोच रहा हु ,
तेरा ,मेरा , इसका, उसका में ,
क्या , कुछ अपना भी है ।
पिकाचु
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